बोझ इतना तालीम का
रेहन रख दी पुस्तक सारी
भारी भरकम शब्द जाल में
उलझ गयी बचपन बेचारी
स्पर्धा होड़ बीच
खो गयी बचपन की छाया
बचाने उस मासूमियत की माया
रेहन रख दी पुस्तकों की छाया
रेहन रख दी पुस्तक सारी
भारी भरकम शब्द जाल में
उलझ गयी बचपन बेचारी
स्पर्धा होड़ बीच
खो गयी बचपन की छाया
बचाने उस मासूमियत की माया
रेहन रख दी पुस्तकों की छाया
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