POEMS BY MANOJ KAYAL
प्रेम सुधा तुम जब बरसाती हो
इन मद भरी आँखों से
बेसुध हो जाती है दुनिया सारी
देख तेरी सुनहरी हिरनी सी चंचल काया
होश खो ठहर जाती है
एक पल के लिए दुनिया सारी
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