RAAGDEVRAN
POEMS BY MANOJ KAYAL
Saturday, September 26, 2009
हसीन तोहफा
मैं अपने प्यार को एक हसीन तोहफा दू
ताजमहल से खूबसरत नजराना दू
सात जन्मो तक साथ निभे
ऐसा कुछ खास उपहार दू
सात फेरो के साथ उसे
जीवन अर्धांगी बनाऊ
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